Lesson Progress
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- गोरखनाथ माल जाल चराता है.
- भीमनाथ को सत्य हरिश्चंद्र पर नाज है.
- शपशिप्रन ने आत्मबोध के लिए पंद्रह सप्ताह तक अभय यात्रा की तब जाकर रोमावली ने उसे ज्ञान की पाँच मात्रा सिखाई.
- गौ की रक्षा के लिए योग चिंतामणि ने विराट योग्सिद्धंत बनाया.
- निरंजन के पास शक्ति है, विवेक है और वह सिद्धांतवादी भी है.
नाथ साहित्य से रिलेटेड सभी कोडिंग. इसी के अनुसार याद करें.